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हरियाणा को डिजिटली एडवांसड  प्रदेश बनाने के लिए डालनी होगी 3 गुना फाइबर केबल: सीओएआई

फाइबर केबल तेज़ी से डालने के लिए सीओएआई ने खंभों के इस्तेमाल की अनुमति मांगी

सेल्युलर ऑपरेटर्स एसोसिएशन ऑफ इंडिया (सीओएआई) ने हरियाणा सरकार को पत्र लिखकर बिजली के खंभों और अन्य युटिलिटी  स्ट्रक्चरज़  पर एरियल ऑप्टिकल फाइबर केबल बिछाने की अनुमति मांगी है। सीओएआई ने कहा है कि अगर हरियाणा डिजिटली उन्नत राज्य बनना चाहता है, तो उसे तीन गुना अधिक ऑप्टिकल फाइबर केबल की आवश्यकता होगी।

हरियाणा के मुख्य सचिव विजय वर्धन को लिखे पत्र में सीओएआई ने कहा कि हाई-स्पीड ब्रॉडबैंड ग्रामीण-शहरी डिजिटल अंतर को पाटने का एक अनूठा अवसर प्रदान करता है। आप्टिकल फाइबर केबल की तेज़ी से तैनाती के माध्यम से हाई स्पीड ब्रॉडबैंड क्षमताओं को बढ़ाना, दूरसंचार क्षेत्र की तत्काल आवश्यकता है। फाइबर केबल बिछाने का सबसे किफायती और तेज़ तरीका खम्बों का उपयोग करके एरियल मार्ग है।

ओडिशा सरकार की नीति का हवाला देते हुए, सीओएआई ने कहा कि ओडिशा के अलावा, बिहार, उत्तराखंड, एमपी, छत्तीसगढ़, एचपी और पंजाब आदि जैसे कई अन्य राज्यों ने  एरियल फाइबर की स्थापना के लिए बिजली के खंबे और अन्य युटिलिटी स्ट्रक्चरज़  के इस्तेमाल के लिए राइट ऑफ वे (आरओडब्ल्यू) नियमों को प्रोत्साहित किया है और इसकी अनुमति दी है।

विभिन्न राज्यों/यूटीज़ की नीतियों में प्रावधान निर्धारित किए गए हैं कि आवेदक को संबंधित बिजली वितरण कंपनी के साथ बिजली के खंभों/ वितरित नेटवर्क प्रणालियों के उपयोग के लिए किफायती दर पर एक समझौता करने की अनुमति दी जानी चाहिए।

सीओएआई ने हरियाणा सरकार से राज्य की बिजली वितरण कंपनियों को निर्देश जारी करने का अनुरोध किया कि वे दूरसंचार सेवा प्रदाताओं को हरियाणा संचार और कनेक्टिविटी इंफ्रास्ट्रक्चर पॉलिसी, 2017 और हरियाणा सरकार के सूचना प्रौद्योगिकी, इलेक्ट्रॉनिक्स और संचार विभाग की 7 अगस्त, 2019 की अधिसूचना के तहत निर्धारित दर पर ऑप्टिकल फाइबर केबल / एरियल केबलिंग लगाने के लिए मौजूदा / आगामी ईबी पोल / एलटी पोल / बिजली के खंभे का उपयोग करने की अनुमति दें ।

सीओएआई के पत्र में कहा गया है कि यह देखते हुए कि कोविड-19 महामारी के दौरान दूरसंचार सुविधाओं के व्यापक उपयोग ने वर्क फ्रॉम होम प्रैक्टिसिज़ को बढ़ाया, ऑप्टिकल फाइबर केबलों की तेज़ी से तैनाती के माध्यम से हाई स्पीड ब्रॉडबैंड क्षमताओं को बढ़ाना, दूरसंचार क्षेत्र की मोबाइल नेटवर्क के विशाल डेटा ट्रैफ़िक को ले जाने की तत्काल आवश्यकता है।

साथ ही पत्र में कहा गया है कि राष्ट्रीय ब्रॉडबैंड मिशन (एनबीएम) के लक्ष्य के अनुसार, अंतिम मील कनेक्टिविटी प्रदान करने के लिए फाइबर केबल को 22 लाख किलोमीटर से बढ़ाकर 50 लाख किलोमीटर करने की आवश्यकता है। हरियाणा में मार्च 2021 तक ऑप्टिकल फाइबर केबल की कुल लंबाई 48,603 किलोमीटर थी।

एशिया और पैसिफ़िक के लिए संयुक्त राष्ट्र आर्थिक और सामाजिक आयोग द्वारा 2014 में किए गए एशियन हाईवे कनेक्टिविटी के साथ फाइबर-ऑप्टिक सह-परिनियोजन के लागत-लाभ विश्लेषण पर एक अध्ययन का उल्लेख करते हुए, सीओएआई ने इस बात पर प्रकाश डाला कि मौजूदा एलटी खम्बों/स्ट्रीट फ़र्नीचर पर एरियल फाइबर बिछाने से ब्रॉडबैंड इन्फ्रास्ट्रक्चर तेज़ी और लागत प्रभावी तरीके से लगता है । राज्य सरकार को मौजूदा  खंबों /स्ट्रीट फ़र्नीचर का मुद्रीकरण करके आर्थिक और सामाजिक लाभ प्राप्त करने के लिए जल्दी और लागत प्रभावी ढंग से ब्रॉडबैंड इंफ्रास्ट्रक्चर का निर्माण करके लाभान्वित किया जाता है। यह आगे प्रधानमंत्री के डिजिटल इंडिया विजन को प्राप्त करने में मदद करेगा और उस विजन को पूरा करने के लिए हरियाणा को तेजी से आगे बढ़ाएगा।

सीओएआई के पत्र में कहा गया है कि संचार और कनेक्टिविटी इंफ्रास्ट्रक्चर पर ध्यान देने से राज्य को बहुत जरूरी निवेश आकर्षित करने में मदद मिलती है।

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