
ग्लोबल पंजाबी एसोसिएशन ने सामाजिक सौहार्द और सिख समुदाय के कल्याण हेतु किए गए प्रयासों के लिए मुख्यमंत्री को किया सम्मानित
मुख्यमंत्री ने श्री गुरु तेग बहादुर जी के जीवन और बलिदान पर आधारित पुस्तक “तिलक जंजू का राखा” का किया विमोचन
यह पुस्तक आने वाली पीढ़ियों को गुरुओं के महान आदर्शों व सिद्धांतों और उनके दिखाए मार्ग पर चलने की प्रेरणा देती रहेगी- मुख्यमंत्री
गुरु परंपरा से प्रेरित होकर सेवा भाव से सर्वसमाज के कल्याण के कार्य कर रही हरियाणा सरकार – नायब सिंह सैनी
चंडीगढ़, 13 अक्तूबर — हरियाणा के मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी को आज “ग्लोबल पंजाबी एसोसिएशन” की ओर से प्रतिष्ठित “शेर-ए-पंजाब महाराजा रणजीत सिंह पुरस्कार” से सम्मानित किया गया। यह सम्मान उन्हें उनके प्रेरणादायी नेतृत्व, सामाजिक सौहार्द के प्रति प्रतिबद्धता और हरियाणा के सिख समुदाय के कल्याण के लिए किए गए सतत प्रयासों की सराहना स्वरूप प्रदान किया गया।
मुख्यमंत्री ने चंडीगढ़ के सेक्टर 18 स्थित टैगोर थियेटर में आयोजित कार्यक्रम में बतौर मुख्य अतिथि शिरकत की। इस अवसर पर मुख्यमंत्री ने श्री गुरु तेग बहादुर जी को नमन करते हुए कहा कि आज का यह अवसर मेरे लिए अत्यंत प्रेरणादायी और हृदयस्पर्शी है। जब हम हिंद की चादर नौवें पातशाह श्री गुरु तेग बहादुर जी के जीवन पर आधारित पुस्तक के विमोचन के साक्षी बने हैं।





इस मौके पर मुख्यमंत्री ने ग्लोबल पंजाबी एसोसिएशन के मुख्य संरक्षक डॉ. इकबाल सिंह लालपुरा द्वारा लिखित हिंदी पुस्तक “तिलक जंजू का राखा” का विमोचन किया। यह पुस्तक सिखों के नौवें गुरु, श्री गुरु तेग बहादुर जी के जीवन, यात्राओं और अद्वितीय सर्वोच्च बलिदान का गहन शोधपूर्ण वृत्तांत है।
श्री गुरु तेग बहादुर जी ने मानवता की रक्षा और धर्म की स्वतंत्रता के लिए अपने प्राण न्योछावर किए
श्री नायब सिंह सैनी ने अपने संबोधन में कहा कि भारत के इतिहास में श्री गुरु तेग बहादुर जी, एक ऐसा नाम हैं, जिन्होंने मानवता की रक्षा और धर्म की स्वतंत्रता के लिए अपने प्राण तक न्योछावर कर दिए। जिस समय भारत में औरंगजेब का शासन था और हालात इतने नाजुक थे कि गुरु गद्दी पर बैठना शहंशाह से शत्रुता मोल लेना था। ऐसे संकट के समय में श्री गुरु तेग बहादुर जी ने निर्भीकता का परिचय देते हुए गुरु पद पर सेवा करना स्वीकार किया।
मुख्यमंत्री ने कहा कि जब औरंगजेब अपने ज़ोर-जुल्म के बल पर हिंदुओं को मुसलमान बनाने पर तुला था। उसने हिंदुओं के मंदिर ध्वस्त कर देने के आदेश जारी किए और नए मंदिरों के निर्माण पर पाबंदी लगा दी। जब कश्मीरी पंडितों को इस अन्याय का सामना करना पड़ा तो वे अपने धर्म की रक्षा के लिए श्री गुरु तेग बहादुर जी की शरण में आए। उनकी व्यथा सुनकर गुरु जी ने कहा कि यदि कोई महापुरुष अपना बलिदान दे तभी आपका धर्म बच सकता है। यह सुनकर 9 वर्ष के बालक गोबिंद राय (श्री गुरु गोबिंद सिंह जी) ने कहा कि ‘पिता जी, आपसे बड़ा महापुरुष और कौन हो सकता है। आप अपना ही बलिदान क्यों नहीं देते।
श्री नायब सिंह सैनी ने कहा कि श्री गुरु तेग बहादुर जी ने अपने पुत्र की बात सुनकर पंडितों से कहा कि जाओ औरंगजेब से कह दो कि, ‘यदि गुरु तेग बहादुर इस्लाम स्वीकार कर लें तो हम सब स्वतः ही इस्लाम स्वीकार कर लेंगे’। हिंदू धर्म की रक्षा के लिए 11 नवम्बर, 1675 को श्री गुरु तेग बहादुर जी ने अपना शीश कुर्बान कर दिया। उन्होंने शीश दे दिया पर धर्म नहीं छोड़ा।
मुख्यमंत्री ने कहा कि जब औरंगजेब ने दिल्ली के चांदनी चौक में श्री गुरु तेग बहादुर जी का शीश कलम करवा दिया था तो भाई जैता ने उनके शीश को श्री आनन्दपुर साहिब ले जाने का संकल्प लिया। जब मुगल सेना भाई जैता का पीछा कर रही थी तो उन्हें जिला सोनीपत के बढ़खालसा गांव में कुशाल नाम का एक गुरु शिष्य मिला। उसने भाई जैता को कहा कि मेरी शक्ल गुरु जी से मिलती है। इसलिए आप मेरा शीश उतारकर मुगल सेना को सौंप दें। इस तरह कुशाल ने अपना शीश कलम करवा दिया और भाई जैता गुरु जी का शीश श्री आनन्दपुर साहिब ले जाने में सफल हुए।
प्रधानमंत्री की पहल पर साहिबजादों की वीरता और बलिदान की स्मृति में प्रत्येक वर्ष मनाया जाता है ‘वीर बाल दिवस’
मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी की पहल पर ‘आजादी का अमृत महोत्सव’ में श्री गुरु तेग बहादुर जी के 400वें प्रकाश वर्ष को देशभर में मनाया गया। श्री गुरु तेग बहादुर जी के 400वें प्रकाश पर्व पर उनकी स्मृति में डाक टिकट और एक सिक्का भी जारी किया गया। प्रधानमंत्री ने दशम पातशाह श्री गुरु गोबिंद सिंह जी के साहिबजादों जोरावर सिंह और फतेह सिंह के शहीदी दिवस को हर वर्ष ‘वीर बाल दिवस’ के रूप में मनाने का निर्णय लिया।
हरियाणा की पावन धरा से सभी सिख गुरुओं का रहा गहरा नाता
श्री नायब सिंह सैनी ने कहा कि प्रथम पातशाह श्री गुरु नानक देव जी से लेकर दशम पातशाह श्री गुरु गोबिंद सिंह जी तक, सभी सिख गुरुओं ने हमें सेवा, समानता और साहस की शिक्षा दी। हरियाणा की पावन धरा से सभी सिख गुरुओं का गहरा सम्बन्ध रहा है। जहां-जहां वे पधारे, ऐसे 30 से अधिक स्थानों पर उनकी याद में गुरुघर स्थापित हैं। उन्होंने कहा कि गुरु परंपरा से प्रेरित होकर हरियाणा सरकार सेवा भाव से सर्वसमाज के कल्याण के कार्य कर रही है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि हरियाणा में भी श्री गुरु नानक देव जी का 550वां प्रकाश पर्व, श्री गुरु गोबिंद सिंह जी का 350वां प्रकाश पर्व भव्य तरीके से मनाया गया। हर कदम पर हमारी डबल इंजन सरकार ने श्रद्धा और सम्मान के साथ काम किया है। उन्होंने कहा कि दिसम्बर, 2022 में हरियाणा सिख गुरुद्वारा प्रबंधन समिति की स्थापना की गई। इससे सिखों की काफी समय से चली आ रही मांग को पूरा किया। इससे हरियाणा में सिख समुदाय को स्वायत्तता मिली है। सिरसा स्थित गुरुद्वारा श्री चिल्ला साहिब को 27 जून, 2024 को 70 कनाल भूमि स्थानांतरित करने का फैसला लिया गया और इसे गुरुद्वारा साहिब को दे दिया गया। यमुनानगर में बनने वाले मेडिकल कॉलेज का नाम हिन्द की चादर श्री गुरु तेग बहादुर सिंह जी के नाम पर रखा गया है। असंध के कॉलेज का नाम श्री गुरु गोबिन्द सिंह जी के छोटे बेटे बाबा फतेह सिंह जी के नाम पर रखा गया है। लखनौर साहिब में माता गुजरी के नाम से वी.एल.डी.ए. कॉलेज स्थापित किया गया है। श्री हजूर साहिब गुरुद्वारा, श्री ननकाना साहिब, श्री हेमकुंड साहिब व श्री पटना साहिब जाने वाले प्रदेश के तीर्थ यात्रियों को वित्तीय मदद उपलब्ध कराने के उद्देश्य से ‘स्वर्ण जयंती गुरु दर्शन यात्रा योजना’ शुरू की गई है।
उन्होंने कहा कि आज जब हम विज्ञान, तकनीक, सोशल मीडिया, एआई के युग में जी रहे हैं, तब श्री गुरु तेग बहादुर जी जैसे महापुरुषों के उपदेश पहले से कहीं अधिक प्रासंगिक हो गए हैं। यह पुस्तक भी आने वाली पीढ़ियों को हिंद की चादर श्री गुरु तेग बहादुर जी के उन महान आदर्शों व सिद्धांतों की याद दिलाती रहेगी और उनके दिखाए मार्ग पर चलने की प्रेरणा देती रहेगी।
इस अवसर पर गोस्वामी श्री सुशील महाराज, नाभा की महारानी श्रीमती उमा सिंह, मुख्यमंत्री के ओएसडी श्री वीरेंद्र बड़खलसा, श्री कुलवंत सिंह धालीवाल और ग्लोबल पंजाब एसोसिएशन के पदाधिकारी सहित अन्य गणमान्य व्यक्ति मौजूद रहे।
क्रमांक – 2025
हरियाणा सरकार ने बैंकएम्पैनलमेंट नीति में किया संशोधन जमा सीमा में दी ढील
चंडीगढ़,13 अक्तूबर-हरियाणा सरकार ने राज्य में सरकारी लेनदेन का काम करनेवाले बैंकों की एम्पैनलमेंट (पैनल में शामिल करने) संबंधी नीति में महत्वपूर्णबदलाव किए हैं। मुख्य सचिव श्री अनुरागरस्तोगी,जिनके पास वित्त विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव का दायित्व भी है,द्वारा इस सम्बन्ध में संशोधित दिशा-निर्देश जारी किए गए हैं। संशोधित नीति के अनुसार,वित्त विभाग ने उन बैंकों (छोटे वित्तीय बैंकों को छोड़कर) के लिए 50 करोड़ रुपये की जमा सीमा समाप्त कर दी है, जिन्हेंपहली बार राज्य सरकार के साथ एम्पैनल किया गया है। अब ऐसे बैंक राज्य सरकार के साथपहले से एम्पैनल अन्य बैंकों के समान माने जाएंगे। स्मॉल फाइनेंस बैंकों केलिए किसी एक विभाग और किसी एक बैंक के साथ अनुमत जमा सीमा को 25 करोड़ रुपये से बढ़ाकर 50 करोड़ रुपये कर दिया गया है।पिछले परिपत्र में वर्णित अन्य सभी शर्तें यथावत रहेंगी। वर्तमान में कुल 28बैंक राज्य सरकार के साथ सरकारी लेनदेन हेतु एम्पैनल किए गए हैं।इनमें सार्वजनिक क्षेत्र, निजी क्षेत्र के तथा छोटे वित्तीयबैंक शामिल हैं।
14 अक्तूबर को पंचकूला जिला के उपभोक्ताओं की बिजली सम्बन्धी शिकायतों की होगी सुनवाई
चण्डीगढ़ 13 अक्तूबर – उत्तर हरियाणा बिजली वितरण निगम उपभोक्ताओं को निर्बाध बिजली की आपूर्ति उपलब्ध करवाने के लिए प्रतिबद्ध है। उपभोक्ताओं की समस्याओं के त्वरित समाधान के लिए निगम द्वारा अनेक महत्वाकांक्षी कार्यक्रम चलाए जा रहे हैं।
उत्तर हरियाणा बिजली वितरण निगम सर्कल फोरम पंचकूला के उपभोक्ता शिकायत निवारण मंच के चेयरमैन एवं सदस्य मंच की कार्यवाही 14 अक्तूबर, 2025 को पंचकूला में की जाएगी। इस दौरान केवल पंचकूला जिला के उपभोक्ताओं की शिकायतों की सुनवाई की जाएगी।
एमडीयू ने परीक्षा परिणाम जारी किया
चंडीगढ़ , 13 अक्टूबर – महर्षि दयानंद विश्वविद्यालय रोहतक ने मई 2025 में आयोजित एमएससी गणित सीडीओई तथा एमएससी गणित सीडीओई ऑनलाइन मोड के तीसरे सेमेस्टर की री अपीयर की परीक्षा का परिणाम जारी कर दिया है।
विश्वविद्यालय के प्रवक्ता ने बताया कि परीक्षा परिणाम विश्वविद्यालय वेबसाइट पर उपलब्ध रहेगा।
यूजीसी-नेट/जेआरएफ परीक्षा हेतु कोचिंग कार्यक्रम 30 अक्टूबर से
चंडीगढ़ , 13 अक्टूबर – महर्षि दयानन्द विश्वविद्यालय (एमडीयू) रोहतक के यूनिवर्सिटी सेंटर फॉर कॉम्पिटिटिव एग्जामिनेशन (यूसीसीई) द्वारा यूजीसी-नेट/जेआरएफ दिसंबर 2025 परीक्षा की तैयारी हेतु कोचिंग कार्यक्रम 30 अक्टूबर से प्रारंभ किया जाएगा।
विश्वविद्यालय के प्रवक्ता ने यह जानकारी देते हुए बताया कि इच्छुक अभ्यर्थी 29 अक्टूबर तक पंजीकरण कर सकते हैं। उन्होंने कहा कि यह कोचिंग कार्यक्रम विद्यार्थियों को परीक्षा की तैयारी में मार्गदर्शन एवं विशेषज्ञ परामर्श प्रदान करेगा, जिससे वे राष्ट्रीय स्तर की प्रतिस्पर्धी परीक्षा में सफलता प्राप्त कर सकें।
जापान दौरा निवेश की दृष्टि से रहा अत्यंत सफल: राव नरबीर सिंह
हरियाणा में लगभग पांच हजार करोड़ रुपये के निवेश समझौते, कृषि व पर्यावरण क्षेत्र में खुलेगा नए युग का द्वार
चंडीगढ़, 13 अक्तूबर– हरियाणा के उद्योग एवं वाणिज्य मंत्री राव नरबीर सिंह ने कहा कि मुख्यमंत्री श्री नायब सिंह सैनी के साथ हाल ही में संपन्न हुआ जापान दौरा निवेश की दृष्टि से अत्यंत सफल रहा है। इस दौरान लगभग पांच हजार करोड़ रुपये से अधिक के निवेश के लिए कई प्रमुख जापानी कंपनियों के साथ 10 समझौता ज्ञापनों (एमओयू) पर हस्ताक्षर किए गए। यह दौरा हरियाणा में कृषि और पर्यावरणीय क्षेत्रों में एक नए युग की शुरुआत करेगा।
राव नरबीर सिंह ने कहा कि जापान की सबसे बड़ी विशेषता उसकी वचनबद्धता और कार्यसंस्कृति है — वहां की कंपनियां जो वायदा करती हैं, उसे निर्धारित समय में पूरी निष्ठा से धरातल पर उतारती हैं। उन्होंने बताया कि हरियाणा में जापानी निवेश का यह सिलसिला नया नहीं है। वर्ष 1980 में जब वे पहली बार मंत्री बने थे, तभी मारुति उद्योग लिमिटेड ने पुराना गुरुग्राम में अपनी पहली इकाई स्थापित की थी। आज प्रदेश में 500 से अधिक जापानी कंपनियां सक्रिय हैं, जो हरियाणा की औद्योगिक प्रगति में अहम भूमिका निभा रही हैं।
उन्होंने कहा कि कुबोटा ट्रैक्टर कंपनी हरियाणा के कृषि विकास में अपनी अहम भूमिका निभाएगी, जबकि पर्यावरणीय क्षेत्र में ग्रीन एनर्जी, इलेक्ट्रिक वाहन, स्मार्ट मोबिलिटी, ग्रीन बिल्डिंग और सस्टेनेबल इंफ्रास्ट्रक्चर के माध्यम से शहरों का विकास होगा और नागरिकों की जीवन गुणवत्ता में सुधार आएगा। उन्होंने बताया कि जापान दौरे के दौरान एआईएसआईएन, एयर वाटर, टीएएसआई, नम्बूब, डेंसो, सोजित्ज़, निसिन, कावाकिन, डाइकिन और टोप्पन जैसी प्रतिष्ठित कंपनियों के साथ हुए समझौतों से हजारों युवाओं के लिए रोजगार सृजन के नए अवसर खुलेंगे।
राव नरबीर ने कहा कि मुख्यमंत्री श्री नायब सिंह सैनी ने अपने वर्ष 2025-26 के बजट अभिभाषण में 10 नए इंडस्ट्रियल मॉडल टाउनशिप (आईएमटी) विकसित करने की घोषणा की थी, जिनमें से पांच को पहले ही स्वीकृति मिल चुकी है। सरकार की योजना है कि इनमें से एक आईएमटी विशेष रूप से जापानी कंपनियों के सहयोग से विकसित की जाए। इसके लिए हरियाणा सरकार अपनी उद्योग नीति में संशोधन कर रही है, जिसके तहत 40 लाख रुपये तक के इलेक्ट्रिक वाहनों को बढ़ावा देने की योजना है। यह नीति मध्यम वर्ग को लाभान्वित करने के साथ-साथ हरित ऊर्जा के विस्तार पर केंद्रित होगी।
उन्होंने कहा कि उनके लिए यह गर्व की बात है कि गुरुग्राम में जन्मे होने के नाते उन्होंने 1980 के दशक से लेकर अब तक चार बार मंत्री रहते हुए जापानी कंपनियों की कार्यशैली और निवेश संस्कृति को निकटता से अनुभव किया है।