
In the last 10 years, the state's GDP has grown at an average rate of 10.8% and per capita income increased at an average rate of 9.1%
मुख्यमंत्री ने कहा कि 2014 से पहले हरियाणा में ऐसा माहौल था कि युवाओं को सरकारी नौकरी प्राप्त करने के लिए विधायक, मंत्री या मुख्यमंत्री तक के चक्कर काटने पड़ते थे। युवाओं का यह मानना था कि शिक्षा प्राप्त करने से नौकरी नहीं मिलती। इस अविश्वास को पिछले 10 सालों में वर्तमान सरकार ने तोड़ने का काम किया है। हमारी सरकार ने पारदर्शिता के साथ बिना पर्ची-बिना खर्ची युवाओं को केवल योग्यता के बल पर सरकारी नौकरियां प्रदान की हैं। पिछले 10 सालों में 1 लाख 75 हजार युवाओं को नौकरियां दी गई। वहीं, आने वाले समय में सरकार 2 लाख और नौकरियां देने का काम करेगी।
इससे पहले राज्यपाल श्री बंडारू दत्तात्रेय, मुख्यमंत्री श्री नायब सिंह सैनी, शिक्षा मंत्री श्री महिपाल ढांडा, कालका से विधायक श्रीमती शक्ति रानी शर्मा, इसरो के पूर्व अध्यक्ष डॉ. डॉ. एस. सोमनाथ, कुरुक्षेत्र विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. सोमनाथ सचदेवा ने स्मारिका का विमोचन भी किया।
हरियाणा ने शिक्षा, खेल, सांस्कृतिक, शोध और औद्योगिक क्षेत्र में बनाई अलग पहचान
नायब सिंह सैनी ने कहा कि भारत के पहले राष्ट्रपति डॉ राजेंद्र प्रसाद ने 1956 में इस कुरुक्षेत्र विश्वविद्यालय की आधारशिला रखी। तब से लेकर विश्वविद्यालय ने विकास की एक लंबी यात्रा तय की है। उन्होंने कहा कि हरियाणा ने शिक्षा, खेल, सांस्कृतिक, शोध और औद्योगिक क्षेत्र में प्रगति कर देश में एक अग्रणी राज्य के रूप में अपनी एक अलग पहचान बनाई। इस पहचान में कुरुक्षेत्र विश्वविद्यालय का महत्वपूर्ण योगदान है। उन्होंने कहा कि ऐसे ही शिक्षण संस्थानों की क्षमता के बलबूते पर हरियाणा ने राष्ट्रीय शिक्षा नीति को पूरी तरह से लागू किया है।
सरकारी नौकरियां : सरकार का ध्येय है हर बच्चे को मिले गुणवत्तापूर्ण शिक्षा
मुख्यमंत्री ने कहा कि एक दशक पहले तक हरियाणा में बेटियों को उच्च शिक्षा प्राप्त करने के लिए दूर-दराज के कॉलेजों में जाना पड़ता था। इस कारण अधिकतर बेटियां शिक्षा से वंचित रह जाती थी। उनकी इस पीड़ा को समझते हुए सरकार ने रोडमैप तैयार किया और हर 20 किलोमीटर पर एक कॉलेज स्थापित करने का संकल्प लिया। पिछले 10 सालों में 79 कॉलेज खोले गए, जिनमें से 30 केवल लड़कियों के हैं। उन्होंने कहा कि सरकार का ध्येय है कि हर बच्चे को अपने घर के नजदीक ही गुणवातापूर्ण शिक्षा मिले।
उन्होंने कहा कि राज्य सरकार शिक्षा के साथ-साथ युवाओं के कौशल विकास पर भी बल दे रही है। समय की मांग के अनुसार स्कूल से विश्वविद्यालय तक की शिक्षा को कौशल के साथ जोड़ा है। इसके अलावा, स्कूलों में एनएसएसक्यूएफ, कॉलेजों में पहल योजना, विश्वविद्यालयों में इन्क्यूयबेशन सेंटर और तकनीकी संस्थानों में उद्योगों की जरूरतों के अनुसार प्रशिक्षण प्रदान करने के लिए उद्योगों के लिए एमओयू करने जैसे कारगर कदम उठाए जा रहे हैं।
उन्होंने कहा कि इस वर्ष के बजट के लिए सरकार ने युवाओं से भी सुझाव मांगे हैं, ताकि एक समावेशी और हर वर्ग के विकास का बजट बनाया जा सके। उन्होंने कहा कि हरियाणा के युवा स्टार्टअप के माध्यम से आज नई ऊंचाइयां छू रहे हैं, यह गर्व की बात है।